•तैंतालिस वर्ष बीत जाने के बाद भी अस्पताल में नहीं हुई महिला डाक्टर की नियुक्ति
•महिलाओं का समुचित इलाज का साकार नही हो पाया तत्कालीन मुख्यमंत्री श्रीपति मिश्र का सपना।
बल्दीराय (सुल्तानपुर)। प्रदेश की सरकार महिलाओ के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाओं का संचालन कर उन्हें स्वावलंबी बना रही है। महिलाओं को इलाज करवाने में दिक्कत न हो इसके लिए प्रत्येक जनपदों में महिला अस्पतालों का निर्माण करवाया है। लेकिन प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री पं० श्रीपति मिश्र का क्षेत्र की महिलाओं का समुचित इलाज क्षेत्र में ही हो यह सपना था उन्होंने अपने इस सपने को साकार करने के लिए वर्ष 1982 में बल्दीराय क्षेत्र वासियों को महिला अस्पाताल की सौगात दी और तत्काल बजट की स्वीकृत करवा कर लाखों की लागत से महिला अस्पताल का निर्माण भी करवा दिया। लेकिन क्षेत्र वासियों का दुर्भाग्य रहा कि स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार पच्चीस वर्षों तक किसी महिला डाक्टर व कर्मचारी की नियुक्ति तक नहीं करवा सके। ढाई दशक तक यह अस्पताल डाक्टर की वाट जोहता रहा।
क्षेत्र वासियों ने 2006 में उठाई थी मांग अस्पताल में शुरू हो गई थी ओपीडी
महिला अस्पताल में स्वास्थ्य विभाग द्वारा डाक्टर की नियुक्ति न किए जाने को लेकर क्षेत्र वासी मुखर हो गए थे और इसकी शिकायत स्वास्थ्य महकमें से लेकर क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों विधायक व सांसद से की। महिलाओं के इलाज की क्षेत्र वासियों की इस प्रबल समस्या से उस समय रुबरू होकर वर्तमान सांसद ताहिर खान ने संसद में आवाज उठाई और 19/8/2007 को स्वयं स्वास्थ्य महकमें के अधिकारियों की उपस्थित में महिला अस्पताल का भव्य उद्घाटन कर महिलाओं के इलाज की सारी सुविधाए अस्पताल में मुहैया करवाई। कुछ समय तक महिला अस्पताल में इलाज सुचारू रूप से चलता रहा लेकिन विभाग के जिम्मेदार की मनमानी के कारण पुनः महिला अस्पताल की इलाज की सारी सुविधाए हटा ली गई।
लाखों की लागत से निर्मित महिला अस्पताल विभागीय अनदेखी से हो गया वीरान
तहसील मुख्यालय बल्दीराय पर लाखों की लागत से निर्मित महिला अस्पताल विभागीय उपेक्षा का शिकार बन कर रह गया। विभागीय अधिकारी कहते है महिला अस्पताल को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र अटैच किया गया है किन्तु सोचने का विषय है स्वास्थ्य विभाग के कागज में अभी भी महिला अस्पताल में फार्मासिष्ट की नियुक्ति चल रही है। महिला अस्पताल में महिलाओं का इलाज न शुरू हो विभागीय अधिकारी कहीं खेल तो नही खेल रहे है यह चर्चा क्षेत्र में जोरों पर है। क्षेत्र के एक सामाजिक कार्यकर्ता ने प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री को एक पत्र भेज कर तत्काल महिला अस्पताल में डाक्टर की नियुक्ति करने की मांग की है।